स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार के द्वारा देश भर में गाँवों और शहरों की सफाई के लिए शुरू किया गया अभियान था. हमारे देश के राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी ने भारत देश को आज़ादी दिलाने और स्वच्छ बनाने का सपना देखा था.
उन्होंने देश को आज़ादी तो दिलाई लेकिन स्वच्छ भारत का सपना कही उनका अधूरा रह गया.वो अपने जीवन काल में सदैव साफ़-सफाई पर ज़ोर देते रहे और लोगो को आस पास की साफ़ सफाई के लिए प्रेरित करते रहे.
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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi)

उनके इसी अधूरे सपने को फिर से जीवित करने और पूरा करने के लिए उनकी 145वीं जयंती पर स्वच्छ भारत अभियान की पहल की गयी.
इस लेख में हमने स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लिखा जो परीक्षा के दृष्टिकोण से तो महत्वपूर्ण है ही साथ में हमारे जीवन में स्वच्छता के महत्व को समझने में मदद करेगा.
स्वच्छ भारत अभियान क्या है?
1 अप्रैल 2012 को प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह के द्वारा पूर्ण स्वच्छता के लिए निर्मल भारत अभियान की शुरुआत की गयी.इस अभियान में बढ़ चढ़ के हिस्सा लेने वाले गाँवों को पुरुस्कार और निर्मल ग्राम का टैग दिया गया.
जिसको बाद में 2 अक्टूबर 2014 को गाँधीजी की 145वीं जयन्ती पर केंद्रीय मंत्रिमंडल की सहमति से नाम बदलकर स्वच्छ भारत अभियान के नाम से एक नए सिरे से शुरू किया गया.
देश की जनता को साफ़ सफाई और स्वच्छता का महत्त्व समझाने के लिए देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बड़े-बड़े नेताओ,अभिनेताओं और कई लोकप्रिय व्यक्तियों ने खुद झाड़ू से कचरा साफ़ किया.
ताकि जनता को सन्देश मिले कि अपने आस पास सफाई करना कोई शर्म की बात नहीं बल्कि हमारी जिम्मेदार है.
स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा स्वच्छ भारत अभियान को शुरू करने का उद्देश्य 5 साल में सम्पूर्ण भारत को गन्दगी मुक्त करना और गाँव-कस्बे में सार्वजनिक व व्यक्तिगत शौचालयों का निर्माण करना था.इसको पूरा करने के लिए सरकार ने 2019 तक का लक्ष्य निर्धारित किया.गाँधी जी की 150वीं जयंती तक 1.2 करोड़ शौचालय निर्माण का लक्ष्य रखा और इसे पूरा कर भारत को खुले में शौच मुक्त बनाने के लिए बड़ा कदम उठाया.
स्वच्छता और स्वास्थ्य का सम्बन्ध
आपने यह बात सुनी ही होगी कि स्वस्थ शरीर में ईश्वर का निवास होता है और व्यक्ति के स्वास्थ्य का सीधा संबंध उसके शरीर और आसपास की सफाई से होता है.हम अपने आस पास की हवा,पानी और अन्य वस्तुओं से सीधे संपर्क में आते है और इनके ऊपर बैठे सूक्ष्म जीव व किटाणु हमारे शरीर के अंदर प्रवेश करते है जिनकी वज़ह से गंभीर बीमारियाँ भी हो सकती है.
इन गंभीर बीमारियों से हमारे शरीर की सुरक्षा के लिए हमारे आस-पास और हमारे शरीर की स्वच्छता की बहुत आवश्यक होता है.हमे रोज़ाना स्नान करना और अपने आस-पास के इलाके को साफ़ रखना चाहिए जिससे बीमारियाँ हमारे शरीर से दूर रहे.
स्वच्छ भारत अभियान से जुड़े अन्य अभियान
स्वच्छता के इस अभियान को पूरा करने के लिए इसको अलग-अलग अभियानों के रूप में बाँटा गया ताकि इस अभियान को आसानी से सफल बनाया जा सके
- स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान – मानव संसाधन विकास मंत्रालय के द्वारा केंद्रीय विद्यालयों और नवोदय विद्यालयों में एक विशेष अभियान चलाया गया जिसके तहत विद्यालयों में कक्षाओं तथा बच्चों,प्रयोगशालाओं,पुस्तकालयों,बगीचों,मैदानों की साफ़ सफाई पर ज़ोर दिया गया.साथ विद्यालयों में स्वछता के निबंध और वाद-विवाद प्रतियोगिताओ का उत्साह के साथ आयोजन किया गया.
- ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान – ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों के घरों में शौचालय की व्यवस्था नहीं होने के कारण वो खुले में शौच करते जिसके कारण कई बीमारियां हो सकती थी और बहन-बेटियों की इज़्ज़त को भी खतरा होता.खुले में शौच को जड़ से समाप्त करने और आसपास की सफाई को बढ़ावा देने के उद्देश्य से सरकार ने शौचालय निर्माण करवाने का अभियान चलाया और एक शौचालय निर्माण के लिए 12000 रू की नकद सहायता राशि दी.
- शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान – शहरी क्षेत्रों में सार्वजनिक स्थलों पर शौचालयों की व्यवस्था नहीं होने के कारण लोग कहीं पर भी मल मूत्र का विसर्जन कर देते है जिसके कारण सार्वजनिक स्थलों पर बहुत ज्यादा गंदगी रहती, इस अभियान के तहत शहरों में सार्वजनिक स्थलों जैसे बस स्टेशन, रेलवे स्टेशन,पर्यटन स्थलों और बाज़ारो में शौचालयों का निर्माण करवाया गया और कचरे के लिए डस्टबिन बनाये गए.
स्वच्छ भारत अभियान के सकारात्मक परिणाम
स्वच्छता के इस अभियान के परिणामों की जाँच के लिए भारत के अलग-अलग शहरों के सर्वे किये गए और सूचियां जारी की गई ताकि लोगों को प्रोत्साहन मिले.इसके लिए पहला सर्वे 2016 में किया गया जिसमें कर्नाटक का मैसूर शहर सबसे साफ़ शहरों की सूचि में शीर्ष स्थान पर रहा उसके बाद लगातार सभी वर्ष मध्यप्रदेश का शहर इंदौर शीर्ष स्थान पर रहा.
हमारे मोहल्ले और नगर पालिका में कचरा उठाने और साफ़ सफाई करने के लिए रोज़ गाड़ियों का संचालन होता है और पहले से कहीं ज्यादा आस पास के इलाके और और नालिया स्वच्छ हुए.प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गाँधी जी की 150वीं जयंती पर भाषण में कहा कि इस बड़े पैमाने पर चलाये स्वच्छ भारत अभियान के तहत 11 करोड़ से अधिक शौचालय बनाए जो अपने आप में गर्व की बात है.
उपसंहार
स्वच्छ भारत अभियान ने देशभर में एक बड़ा रूप लिया और सकारात्मक परिणाम दिए.इसकी वजह से लोगो के बीच साफ़ सफाई को लेकर जागरूकता बढ़ी और लोगो ने अपने आसपास की गन्दगी के साथ अपने मन की गन्दगी को साफ़ किया.लेकिन हमे यह बात हमेशा अपने दिमाग में रखनी चाहिए कि अपने शरीर और आसपास की सफाई रखना हमारा कर्तव्य है और इसको हमे अपनी आदत बनाना होगा.भविष्य में इसके लिए कोई अभियान चलाने की जरुरत नहीं पड़नी चाहिए.
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